पाँच बड़े शहरी माओवादी गिरफ्तार अनेक माओवादियों के घर पर छापेमारी, शहरी माओवाद पर निर्णायक प्रहार

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पाँच बड़े शहरी माओवादी गिरफ्तार अनेक माओवादियों के घर पर छापेमारी, शहरी माओवाद पर निर्णायक प्रहार

28 अगस्त, मंगलवार को प्रातःकाल पांच माओवादी नेता गिरफ्तार हुए। इनमें से पाँच लोगों का संबंध भीमा कोरेगाँव के दंगा भड़काने वाली देश विरोधी सभा एलगार परिषद के आयोजन से था। ये पांच गिरफ्तार हुए शहरी माओवादी हैं गौतम नवलखा, सुधा भारद्वाज, पी वारवरा राव, वर्नोन गोंजाल्विस और अरुण फेरारिया। आज मंगलवार की सुबह अनेक शहरों में एक साथ छापेमारी की गई। राँची, दिल्ली, हैदराबाद, मुम्बई, हरियाणा में एक साथ रेड डाला गया है। भीमा कोरेगाँव में एलगार परिषद में माओवादी लिंक की जाँच के क्रम में मिली जानकारी के आधार पर ये छापे डाले गए थे।

माओवादी मानवाधिकार एक्टिविस्ट गौतम नवलखा, मानवाधिकार की अधिवक्ता सुधा भारद्वाज, लेखक और आंदोलनकारी माओवादी पी वारवरा राव, माओवादी आंदोलनकारी वर्नोन गोंजाल्विस और अरुण पेरिएरा गिरफ्तार हुए हैं।

सुधा भारद्वाज की गिरफ्तारी आईपीसी की धारा 153A (विभिन्न समूहों के मध्य साम्प्रदायिक शत्रुता भड़काने का प्रयास), धारा 505 (जनता के बीच दुर्भाव फैलाने के बयान), धारा 117 (दस या उससे अधिक लोगों के द्वारा हिंसा फैलाने की हरकत) और धारा 120 के अंतर्गत किया गया है।

6 जून 2018 को भीमा कोरेगाँव केस में संलिप्त बड़े माओवादी नेता सुरेंद्र गाडलिंग, सुधीर धावले, सोमा सेन, रोना विलसन, महेश राउत गिरफ्तार हुए थे। सुधीर धावले एलगार परिषद का आयोजक था तथा मुम्बई बेस्ड रिपब्लिकन पैंथर्स जाती अंटाची चळवळ का नेता था। रोना विलसन दिल्ली में कमिटी फ़ॉर द रिलीज ऑफ पोलिटिकल प्रिजनर्स (CRPP) नामक संगठन चलाता था। ज्ञात हो कि CRPP संसद हमले का अभियुक्त रहा दिल्ली विश्वविद्यालय का प्रोफेसर गिलानी चलाता है जिसका प्रमुख सहयोगी था यह रोना विलसन। नागपुर का अधिवक्ता सुरेंद्र गाडलिंग इंडियन असोसिएशन ऑफ पीपुल्स लायर्स नाम का संगठन चलाता था। सोमा सेन नागपुर विश्वविद्यालय में अंग्रेजी की प्रोफेसर थी। महेश राउत प्रधानमंत्री ग्रामिण विकास कार्यक्रम का पूर्व में फेलो था।

इन पांचों की गिरफ्तारी आईपीसी की विभिन्न धाराओं और यूएपीए एक्ट के अंतर्गत साम्प्रदायिक शत्रुता बढ़ाने और हिंसा भड़काने के आरोप में हुई थी। उन पांचों की गिरफ्तारी के बाद किये गए पूछताछ और जब्त साक्ष्यों के आधार पर इन पाँच लोगों की आज छापा मारकर गिरफ्तारी हुई है।

पुणे पुलिस ने आज प्रसिद्ध मानवाधिकार एक्टिविस्ट एवं पत्रकार गौतम नवलखा के घर पर छापेमारी करके उसको गिरफ्तार किया। गौतम नवलखा पुणे के भीमा कोरेगाँव में 31 दिसंबर 2017 को आयोजित हिंसक एलगार परिषद में सम्मिलित थे। पुणे के पास आयोजित इस एलगार परिषद में जाति आधारित हिंसा फैलाने के प्रयत्न किए गए थे। यह एलगार परिषद पूरी तरह हिंसा की नीयत से माओवादियों द्वारा ही आयोजित किया गया था।

एक सीनियर पुलिस अधिकारी ने बताया कि गौतम नवलखा के दिल्ली स्थित घर पर, वारवरा राव के हैदराबाद स्थित घर पर, मुम्बई में वर्नोन गोंजाल्विस और अरुण पेरिएरा के घर पर तथा दिल्ली में सुधा भारद्वाज के घर पर एक साथ छापा मारा गया। इनके घर पर छानबीन के दौरान अनेक सबूत हाथ लगे हैं।

झारखंड में राँची के नामकुम में स्टेन स्वामी के घर पर भी छापा मारा गया। उसको पुणे पुलिस ने मराठी भाषा में लिखित सर्च वारंट थमाया तो उसने बिना अनुवाद जाने उस पर हस्ताक्षर से मना कर दिया। तब वहाँ पहुँची पुणे पुलिस ने उसको एक एक शब्द का शब्दशः अनुवाद पढ़कर सुनाया। उसके बाद उसके घर पर खोजबीन आरम्भ हो पाया। उससे अनेक दस्तावेज प्राप्त हुए हैं। स्टेन स्वामी का संबंध भीमा कोरेगाँव की घटना में लिप्त माओवादियों से भी था तथा वह पत्थलगड़ी की घटना में भी लिप्त पाया गया है। स्टेन स्वामी खूँटी में डायन प्रथा के विरुद्ध आंदोलन चला रहे नाटक मंडली की सदस्य पाँच लड़कियों के बलात्कार में भी संदिग्ध था। पुणे पुलिस ने उसके घर से 21 सीडी, दो सिम कार्ड, एक लैपटॉप, एक कैमरा, झारखण्ड के आदिवासी स्वतंत्रता सेनानियों की एक लिस्ट, खूँटी गैंगरेप के बारे में एक प्रेस रिलीज और एक मोबाइल फोन समेत अनेक दस्तावेज जब्त किया है।

विदित हो कि स्टेन स्वामी समेत बीस लोगों के विरुद्ध विगत 30 जुलाई को देशविरोधी गतिविधियों में लिप्त होने के लिए देशद्रोह का मुकदमा झारखण्ड पुलिस ने दर्ज किया था जिसमें कांग्रेस के कोलेबिरा से पूर्व विधायक रहे नेता भी गिरफ्तार हुए थे। उनके खिलाफ आईपीसी की धारा 121, 121A, 124A तथा आईटी एक्ट की धारा 66A और 66F लगाया गया था।

हैदराबाद में प्रोफेसर के सत्यनारायण के घर पर भी छापा मारा गया। प्रोफेसर सत्यनारायण इंग्लिश एंड फॉरेन लैंग्वेज यूनिवर्सिटी (EFL-U) में कल्चरल स्टडीज के प्रोफेसर हैं। विश्वविद्यालय कैम्पस में 10 बजे पुलिस ने उसके घर में प्रवेश किया। प्रोफेसर के सत्यनारायण हैदराबाद से गिरफ्तार माओवादी इनेटेलेक्चुअल पी वारवरा राव के दामाद हैं।

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